Followers

रविवार, 24 अप्रैल 2022

सुभाषितम्


       अद्यतनसुभाषितम्

यथा चित्तं तथा वाचो यथा वाचस्तथा क्रियाः।
चित्ते वाचि क्रियायां च साधुनामेकरूपता।।

अर्थात् अच्छे लोग वहीं बात बोलते हैं जो उनके मन में होती है, अच्छे लोग जो बोलते हैं वहीं करते हैं।ऐसे पुरुषों के मन ,वचन व कर्म में समानता होती है।

अद्यतन-सूक्ति

  "सूर्यवत् उद्भासितुम् इच्छति चेत् तत् वत् तपेत् आद्यम्" अर्थात् (यदि आप) सूर्य के समान चमकना चाहते हैं तो सूर्य के समान तपना सीखिए।